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2019-09-05

अध्याय 114


मैंने ब्रह्मांड की दुनिया बनाई; मैंने पर्वतों, नदियों और सभी चीज़ों को बनाया; मैंने ब्रह्मांड के बिल्कुल अंतिम सिरों को आकार दिया; मैंने अपने पुत्रों और अपने लोगों की अगुआई की; मैंने सभी चीजों और पदार्थों पर शासन किया। अब, मैं अपने ज्येष्ठ पुत्रों को वापस सिय्योन पर्वत पर ले जाऊँगा, जहाँ मैं रहता हूँ वहाँ लौटने के लिए, जो मेरे कार्य का अंतिम कदम होगा। मैंने जो कुछ भी किया है (सृजन से अब तक किया गया सब कुछ) मेरे कार्य के आज के चरण के लिए था, और इसके अलावा यह कल के शासन, कल के राज्य के लिए, और मेरे और मेरे ज्येष्ठ पुत्रों के अनन्त आनंद लेने के लिए है। सभी चीज़ों का सृजन करने में यही मेरा लक्ष्य रहा है और यह सृजन की मेरी अंतिम उपलब्धि होगी। मैं जो कहता हूँ और करता हूँ उसके पीछे उद्देश्य होता है; हर चीज़ की एक योजना होती है और यह बेतरतीबी से नहीं किया जाता है।

2019-08-31

अध्याय 113

मेरे द्वारा किए गए हर कार्य के भीतर मेरी बुद्धि समाविष्ट होती है, किन्तु मनुष्य इसकी बिल्कुल भी थाह नहीं पा सकता है; मनुष्य केवल मेरे कार्यकलापों और मेरे वचनों को देख सकता है, किन्तु मेरी महिमा, या मेरे व्यक्तित्व के प्रकटन को नहीं देख सकता है, क्योंकि मनुष्य में ये क्षमता है ही नहीं। इसलिए, मनुष्य के नहीं बदलने की परिस्थितियों में, मेरे ज्येष्ठ पुत्र और मैं सिय्योन लौट जायेंगे और रूप बदल लेंगे, ताकि मनुष्य मेरी बुद्धि और मेरी सर्वशक्तिमत्ता को देख सके। मेरी बुद्धि और मेरी सर्वशक्तिमत्ता जो मनुष्य अब देखता है वे मेरी महिमा का केवल एक छोटा सा अंश हैं, और उल्लेख करने योग्य बिल्कुल भी नहीं हैं। वहाँ से दिखायी गई, मेरी बुद्धि और मेरी महिमा अनंत और असीमित रूप से गहन हैं, और मनुष्य के मन के पास इसे विचारने या समझने काबस कोई तरीका नहीं है। राज्य का निर्माण करना मेरे ज्येष्ठ पुत्रों का कर्तव्य है, और यह मेरा भी कार्य है, अर्थात् यह मेरी प्रबंधन योजना की एक मद है। राज्य का निर्माण कलीसिया के निर्माण के समान नहीं है; क्योंकि मेरे ज्येष्ठ पुत्र और मैं मेरे व्यक्तित्व और राज्य हैं, तो जब मैं और मेरे ज्येष्ठ पुत्र सिय्योन पर्वत में प्रवेश करेंगे, तो राज्य का निर्माण प्राप्त किया जाएगा। दूसरे तरीके से कहें तो, राज्य का निर्माण कार्य का एक कदम है: आध्यात्मिक दुनिया में प्रवेश करने का कदम।

2019-08-20

अध्याय 112


परमेश्वर का वचन-अध्याय 112

"वचन और वास्तविकता साथ-साथ आगे बढ़ते हैं" यह मेरे धार्मिक स्वभाव का हिस्सा है और, इन वचनों से, मैं निश्चित रूप से हर एक को मेरे समस्त स्वभाव को देखने दूँगा। लोगों को लगता है कि इसे प्राप्त नहीं किया जा सकता है, किन्तु मेरे लिए यह आसान और सुखद है, और इसमें कोई प्रयास नहीं लगता है। जब मेरे वचन बाहर निकलते हैं तो वहाँ तुरंत एक वास्तविकता हो जाती है जिसे हर कोई देख सकता है। यह मेरा स्वभाव है। चूँकि मैं कुछ कहता हूँ, तो यह आवश्यक रूप से पूर्ण होता है, अन्यथा मैं नहीं बोलता। मानवीय धारणा में "उद्धार" शब्द सभी लोगों के लिए बोला जाता है, किन्तु यह मेरे इरादे से मेल नहीं खाता है। अतीत में मैंने कहा था, "मैं सदैव उन लोगों को बचाता हूँ जो अज्ञानी हैं और जो उत्साही जिज्ञासु हैं," जिसमें "बचाना" शब्द उन लोगों के बारे में बोला गया था जो मेरे लिए सेवा प्रदान करते हैं, और इसका मतलब था कि मैं इस तरह के सेवा करने वालों के साथ विशेष व्यवहार करूँगा

2019-08-10

अध्याय 112




परमेश्वर का वचन-अध्याय 112

"वचन और वास्तविकता साथ-साथ आगे बढ़ते हैं" यह मेरे धार्मिक स्वभाव का हिस्सा है और, इन वचनों से, मैं निश्चित रूप से हर एक को मेरे समस्त स्वभाव को देखने दूँगा। लोगों को लगता है कि इसे प्राप्त नहीं किया जा सकता है, किन्तु मेरे लिए यह आसान और सुखद है, और इसमें कोई प्रयास नहीं लगता है। जब मेरे वचन बाहर निकलते हैं तो वहाँ तुरंत एक वास्तविकता हो जाती है जिसे हर कोई देख सकता है। यह मेरा स्वभाव है। चूँकि मैं कुछ कहता हूँ, तो यह आवश्यक रूप से पूर्ण होता है, अन्यथा मैं नहीं बोलता। मानवीय धारणा में "उद्धार" शब्द सभी लोगों के लिए बोला जाता है, किन्तु यह मेरे इरादे से मेल नहीं खाता है। अतीत में मैंने कहा था, "मैं सदैव उन लोगों को बचाता हूँ जो अज्ञानी हैं और जो उत्साही जिज्ञासु हैं," जिसमें "बचाना" शब्द उन लोगों के बारे में बोला गया था जो मेरे लिए सेवा प्रदान करते हैं, और इसका मतलब था कि मैं इस तरह के सेवा करने वालों के साथ विशेष व्यवहार करूँगा।

2019-07-27

अध्याय 111

परमेश्वर का वचन-अध्याय 111

तेरी वजह से सभी राष्ट्र धन्य हो जाएँगे; तेरी वजह से सभी लोग मेरी जयजयकार और स्तुति करेंगे। मेरा राज्य संपन्न और विकसित होगा, और सदैव के लिए रहेगा। किसी को भी इसे कुचलने नहीं दिया जाएगा और किसी भी ऐसी चीज़ को अस्तित्व में नहीं रहने दिया जाएगा जो मेरे अनुरूप नहीं है, क्योंकि मैं स्वयं प्रतापी परमेश्वर हूँ जिसका अपमान नहीं किया जा सकता। मैं किसी को भी अपनी आलोचना नहीं करने देता हूँ और मैं किसी को भी अपने साथ असंगत नहीं होने देता हूँ। मेरा स्वभाव और मेरा प्रताप दिखाने के लिए यह पर्याप्त है। जब कोई मेरा विरोध करता है, तो मैं उसे अपने स्वयं के समय में दंड दूँगा। किसी ने मुझे किसी को दंडित करते हुए क्यों नहीं देखा है? ऐसा केवल इसलिए है क्योंकि मेरा समय अभी तक नहीं आया है और मेरे हाथ ने अभी तक वास्तव में कार्य नहीं किया है। यद्यपि बड़ी आपदाएँ उँड़ेली गई हैं, लेकिन यह सिर्फ बड़ी आपदाओं के बारे में बताता है, जबकि बड़ी आपदाओं की वास्तविकता किसी भी व्यक्ति पर नहीं पड़ी है। क्या तुम लोगों को मेरे वचनों से कुछ भी समझ में आया है? मैं आज बड़ी आपदाओं की वास्तविकता को जारी करना शुरू कर दूँगा।

2019-07-23

अध्याय 110


परमेश्वर का वचन-अध्याय 110

जब सब कुछ प्रकट हो जाएगा तभी वह समय होगा कि मैं आराम करूँगा, और इससे भी अधिक, यह वह समय होगा जब सब कुछ व्यवस्थित हो जाएगा। मैं व्यक्तिगत रूप से अपना कार्य करता हूँ; मैं हर चीज़ को आयोजित करता हूँ और सब कुछ स्वयं व्यवस्थित करता हूँ। जब मैं सिय्योन से बाहर निकलता हूँ और जब मैं लौटता हूँ, जब मेरे ज्येष्ठ पुत्र मेरे द्वारा पूर्ण बना दिए जाएँगे, तो मैंने अपना महान कार्य पूरा कर लिया होगा। लोगों की अवधारणाओं में कोई चीज़ जो की जाती है वहदेखे और स्पर्श किए जाने योग्य अवश्य होनी चाहिए, किन्तु जिस तरह से मैं इसे देखता हूँ, जिस समय मैं अपनी योजना बनाता हूँ, तभी सब कुछ पूरा हो जाता है। सिय्योन वह जगह है जहाँ मैं रहता हूँ और यह मेरा गंतव्य है; यहीं पर मैं अपनी सर्वशक्तिमत्ता को प्रकट करता हूँ, और यहीं पर मेरे ज्येष्ठ पुत्र और मैं अपनी पारिवारिक खुशी को साझा करेंगे।

2019-07-20

अध्याय 109

परमेश्वर का वचन-अध्याय 109

मैं हर दिन कथनों को कह रहा हूँ, हर दिन बोल रहा हूँ, और हर दिन अपने महान संकेतों और चमत्कारों को प्रकट कर रहा हूँ। ये सभी मेरे आत्मा के कार्य हैं। लोगों की नज़रों में मैं मात्र एक मनुष्य हूँ, लेकिन वास्तव में इसी मनुष्य में मैं अपना सर्वस्व और अपनी महान सामर्थ्य को प्रकट करता हूँ।
क्योंकि लोग मैं जो मनुष्य हूँ उसे अनदेखा करते हैं और मेरे कार्यों को अनदेखा करते हैं, और वे सोचते हैं कि ये चीज़ें मनुष्यों के द्वारा की गई हैं। लेकिन तू ऐसा क्यों नहीं सोचता है कि: क्या लोग वह सम्पन्न कर सकते हैं जो मैं करता हूँ? लोग मुझे इस हद तक नहीं जानते हैं, उन्हें मेरे वचन समझ में नहीं आते हैं, और मेरे कर्म समझ में नहीं आते हैं। दुष्ट, भ्रष्ट मनुष्य!

2019-07-15

अध्याय 108

परमेश्वर का वचन-अध्याय 108

मेरे भीतर, सभी विश्राम पा सकते हैं और सभी मुक्त हो सकते हैं। जो मुझसे बाहर हैं वे स्वतंत्रता और खुशी नहीं प्राप्त कर सकते हैं क्योंकि मेरा आत्मा इन लोगों के साथ नहीं है। इन लोगों को आत्माहीन मृत कहा जाता है। और मैं उन लोगों को जो मेरे भीतर हैं, उन्हें आत्माओं वाले जीवित लोग बुलाता हूँ। वे मुझसे संबंधित हैं, और वे मेरे सिंहासन की ओर लौट जाएँगे। जो सेवा प्रदान करते हैं और जो शैतान से संबंधित हैं वे आत्माहीन मृत हैं, और उन्हें अवश्य नष्ट करके मिटा दिया जाना चाहिए। यह मेरी प्रबंधन योजना का एक रहस्य है, और कुछ ऐसा है जो मानवजाति मेरी प्रबंधन योजना में समझ नहीं पाती है, लेकिन मैंने इसे हर एक के लिए सार्वजनिक भी कर दिया है। जो मुझसे संबंधित नहीं हैं वे मेरे विरूद्ध हैं; जो मुझसे संबंधित हैं ये वे लोग हैं जो मेरे साथ संगत हैं। यह पूरी तरह से संदेह रहित है, और यह शैतान के मेरे न्याय का सिद्धांत है।

2019-07-09

अध्याय 107

परमेश्वर का वचन-अध्याय 107

जब मेरे वचन एक निश्चित अंश तक गंभीर होते हैं, तो अधिकांश लोग मेरे वचनों की वजह से पीछे हट जाते हैं। ठीक इसी समय मेरे ज्येष्ठ पुत्रों को प्रकट किया जाता है। मैंने कहा है कि मैं एक भी अँगुली नहीं उठाऊँगा, बल्कि सभी चीज़ों को प्राप्त करने के लिए केवल अपने वचनों का उपयोग करूँगा। मैं उन सभी को नष्ट करने के लिए अपने वचनों का उपयोग करता हूँ जिनसे मैं नफ़रत करता हूँ, और मैं अपने ज्येष्ठ पुत्रों को सिद्ध बनाने के लिए भी अपने वचनों का उपयोग करता हूँ। (जब मेरे वचन बोले जाएँगे, तो सात गरजनें सुनाई देंगी, और उस पल में मेरे ज्येष्ठ पुत्र और मैं रूप बदलेंगे और आध्यात्मिक क्षेत्र में प्रवेश करेंगे)। जब मैंने कहा कि मेरा आत्मा व्यक्तिगत रूप से कार्य करता है, तो मेरा मतलब था कि मेरे वचन सब प्राप्त कर लेते हैं, और इस के माध्यम से कोई देख सकता है कि मैं सर्वशक्तिमान हूँ।

2019-07-06

अध्याय 106



परमेश्वर का वचन-अध्याय 106

जो मेरे वचनों को नहीं जानते हैं, जो मेरी सामान्य मानवता को नहीं जानते हैं, और जो मेरे दिव्यता का अनादर करते हैं, उन्हें ध्वस्त करके उनका अस्तित्व मिटा दिया जाएगा। इससे किसी को भी छूट नहीं दी जाएगी, और सभी को अवश्य इससे गुजरना होगा क्योंकि यह मेरा प्रशासनिक आदेश है, और यह मेरे आदेश का सबसे गंभीर अनुच्छेद है। जो लोग मेरे वचनों को नहीं जानते हैं ये वे लोग हैं जिन्होंने उन बातों को सुना तो है जो मैंने स्पष्ट रूप से बतायी हैं, फिर भी उन्हें जाना नहीं है, दूसरे शब्दों में जो आध्यात्मिक मामलों को नहीं समझते हैं (क्योंकि मैंने मनुष्यों के लिए यह अंग नहीं बनाया है, इसलिए मैं उनसे अधिक माँग नहीं करता हूँ; मैं केवल इतना ही चाहता हूँ कि वे मेरे वचनों को सुनें और फिर उनका अभ्यास करें)।

2019-07-03

अध्याय 105



परमेश्वर का वचन-अध्याय 105

मेरे वचनों के सिद्धांतों के कारण, मेरे कार्य के तरीके के कारण, लोग मुझसे इन्कार करते हैं; इतने लंबे समय से मेरे बोलने का यही उद्देश्य है (बड़े लाल ड्रैगन के सभी वंशजों के संबंध में बोला गया है)। यह मेरे कार्य का बुद्धिमान तरीका है; यह बड़े लाल अजगर का मेरा न्याय है; यह मेरी कार्यनीति है, एक भी व्यक्ति इसे पूरी तरह से नहीं समझ सकता है। हर नये मोड़ पर, अर्थात्, मेरी प्रबंधन योजना के हर परिवर्ती चरण में, कुछ लोगों को अवश्य निष्कासित किया जाना चाहिए; वे मेरे कार्य के अनुक्रम के अनुसार निष्कासित किए जाते हैं। केवल यही मेरी पूरी प्रबंधन योजना का कार्य करने का तरीका है। जब मैं एक-एक करके, उन लोगों को बाहर फेंक देता हूँ जिन्हें मैं निष्कासित करना चाहता हूँ, तब मैं अपने कार्य के अगले कदम को शुरू करता हूँ।

2019-06-28

अध्याय 104

परमेश्वर का वचन-अध्याय 104

मुझसे बाहर के सभी लोग, घटनाएँ और चीज़ें शून्य हो जाएँगी, जबकि मेरे भीतर के सभी लोग, घटनाएँ और चीज़ें मुझसे सब कुछ प्राप्त करेंगे और मेरे साथ महिमा, मेरे सिय्योन पर्वत, मेरे निवास में प्रवेश करेंगे, और सदैव मेरे साथ मिलजुल कर रहेंगे। मैंने शुरुआत में सभी चीज़ें बनाईं और अंत में अपना कार्य पूरा करूँगा, और मैं सदा के लिए राजा के रूप में शासन करूँगा। बीच में, मैं पूरे ब्रह्मांड की अगुआई करता हूँ और इसे नियंत्रित करता हूँ। कोई भी मेरे अधिकार को नहीं ले सकता, क्योंकि मैं एकमात्र परमेश्वर स्वयं हूँ, और मेरे पास अपने ज्येष्ठ पुत्रों को अपना अधिकार देने की सामर्थ्य भी है, ताकि मेरे ज्येष्ठ पुत्र मेरे साथ-साथ शासन कर सकें। यह अनंत काल के लिए मौजूद है और कभी भी नहीं बदला जा सकता है।

2019-06-24

अध्याय 103



परमेश्वर का वचन-अध्याय 103

एक ज़बरदस्त आवाज़ बाहर निकलती है, पूरे ब्रह्मांड को थरथरा देती है, लोगों के कान फोड़ देती है, उन्हें रास्ते से बच निकलने में बहुत देर हो जाती है, और कुछ मारे जाते हैं, कुछ नष्ट हो जाते हैं, और कुछ का न्याय किया जाता है। यह वास्तव में ऐसा नज़ारा है जैसा पहले किसी ने नहीं देखा है। ध्यानपूर्वक सुनो, गरज के विस्फोटों के साथ रोने की आवाज़ें आती हैं, और यह आवाज़ अधोलोक से आती है, यह आवाज़ नरक से आती है। यह विद्रोह के उन पुत्रों की कटु आवाज है जिनका मेरे द्वारा न्याय किया गया है।

2019-06-22

अध्याय 102


परमेश्वर का वचन-अध्याय 102

मैंने एक निश्चित अंश तक बात की है और कुछ हद तक कार्य किया है; तुम सभी लोगों को मेरी इच्छा को समझना चाहिए और अलग-अलग अंशों तक मेरी ज़िम्मेदारी के प्रति विचारशील होने में सक्षम होना चाहिए। अब देह से आध्यात्मिक दुनिया की ओर नया मोड़ है, और तुम लोग ऐसे अग्रदूत हो जो युगों के दोनो तरफ हो, सार्वभौमिक पुरुष हो जो ब्रह्मांड के छोरों के आरपार जाते हैं। तुम मेरे सबसे प्यारे हो; तुम्हीं वह हो जिनसे मैं प्रेम करता हूँ। यह कहा जा सकता है कि तुम लोगों के अलावा मुझे किसी से प्रेम नहीं है, क्योंकि मेरा समस्त श्रमसाध्य प्रयास तुम लोगों के लिए रहा है—क्या ऐसा हो सकता है कि इसे तुम लोग नहीं जानते हो?

2019-06-20

अध्याय 101

परमेश्वर का वचन-अध्याय 101

मैं ऐसे किसी भी व्यक्ति के प्रति उदार नहीं होऊँगा जो मेरे प्रबंधन को बाधित करता है या जो मेरी योजनाओं को बर्बाद करने की कोशिश करता है। हर किसी को समझना चाहिए कि उन वचनों से मेरा क्या मतलब है जो मैं कहता हूँ और उस बारे में स्पष्ट होना चाहिए जिस बारे में मैं बात कर रहा हूँ। वर्तमान स्थिति को देखते हुए, हर एक को स्वयं की जाँच करनी चाहिए: तू किस भूमिका को निभा रहा है? क्या तू मेरे वास्ते जी रहा है, या तू शैतान की सेवा कर रहा है? क्या तेरा प्रत्येक कार्य मुझसे आगे बढ़ता है, या वह शैतान से आगे बढ़ता है? यह सब स्पष्ट होना चाहिए ताकि मेरे प्रशासनिक आदेशों को अपमानित करने और इस तरह मेरे प्रचण्ड प्रकोप को उत्पन्न करने से बचा जाए।

2019-06-18

अध्याय 100

परमेश्वर के वचन-अध्याय 100

मैं उन सभी से नफ़रत करता हूँ जिन्हें मेरे द्वारा पूर्वनिर्धारित किया और चुना नहीं गया है। इसलिए मुझे इन लोगों को एक-एक करके अपने घर से बाहर अवश्य निकालना होगा, इस प्रकार मेरा मंदिर पवित्र और निर्दोष हो जाएगा, मेरा घर सदैव नया रहेगा और कभी पुराना नहीं पड़ेगा, मेरा पवित्र नाम सदा के लिए फैल जाएगा और मेरे पवित्र लोग मेरे प्रियजन बन जाएँगे। इस तरह का दृश्य, इस तरह का घर, इस तरह का राज्य मेरा लक्ष्य है, मेरा धाम है और यही मेरी सभी चीज़ों के निर्माण का आधार है। कोई भी इसे प्रभावित या परिवर्तित नहीं कर सकता है।

2019-06-16

अध्याय 99


क्योंकि मेरे कार्य की गति तेज़ हो रही है, इसलिए कोई भी मेरे पदचिह्नों के साथ गति बनाए नहीं रख सकता है, और कोई भी मेरे मन में प्रवेश नहीं कर सकता है, किन्तु यही एकमात्र मार्ग है जिसकी यात्रा की जानी है। यह "मरे हुओं" वैसा ही है जैसा कि जब मैं मरे हुओं में से जी उठने की बात करता हूँ (यह मेरी इच्छा को समझने में असमर्थ होना है, जो मेरे वचनों से मेरा जो मतलब है उसे समझने में असमर्थ होना है। यह मरे हुओं" की एक और व्याख्या है, और इसका अर्थ मेरे आत्मा द्वारा त्याग दिया जाना नहीं है)।

2019-06-14

अध्याय 98

परमेश्वर का वचन -अध्याय 98

सभी चीज़ें तुम लोगों में से प्रत्येक पर आएँगी, और वे तुम लोगों को मेरे बारे में और अधिक जानने देंगी और मेरे बारे में और अधिक निश्चित होने देंगी। वे तुम लोगों को मुझ, एकमात्र स्वयं परमेश्वर के बारे में जानने देंगी, मुझ सर्वशक्तिमान के बारे में जानने देंगी, मुझ स्वयं देहधारी परमेश्वर के बारे में जानने देंगी। इसके बाद, मैं देह में से बाहर आ जाऊँगा, सिय्योन लौट जाऊँगा, कनान की अच्छी भूमि पर लौट जाऊँगा, जो कि मेरा निवास है, जो कि मेरा गंतव्य है, और यही वह अड्डा है जहाँ से मैंने सभी चीज़ों को बनाया है। अभी तुम लोगों में से कोई भी उन वचनों के अर्थ को नहीं समझता है जो मैं कह रहा हूँ, एक भी ऐसा व्यक्ति नहीं है जो इन वचनों के अर्थ को समझ सकता है।

2019-06-12

अध्याय 97

परमेश्वर का वचन-अध्याय 97

मैं हर एक व्यक्ति को अपने अद्भुत कर्मों को दिखाऊँगा और अपने बुद्धिमत्तापूर्ण वचनों को सुनाऊँगा। यह अवश्य प्रत्येक व्यक्ति होना चाहिए और यह अवश्य हर एक मामले से सम्बन्धित होना चाहिए। यह मेरा प्रशासनिक आदेश है और यह मेरा कोप है। मैं हर एक व्यक्ति और हर एक मामले को शामिल करूँगा ताकि ब्रह्मांड के एक छोर से दूसरे छोर तक के सभी लोग अपनी आँखों से देख लें, अन्यथा मैं कभी नहीं रुकूँगा। मेरा कोप पूरी तरह से उँड़ेल दिया गया है और एक कतरा भी नहीं रोका गया है।

2019-06-11

अध्याय 96

परमेश्वर का वचन-अध्याय 96

मैं अपना समस्त कोप दिखाने, अपनी महान सामर्थ्य दिखाने, और अपनी पूरी बुद्धि दिखाने के लिए, मुझसे जन्मे उस हर एक को ताड़ना दूँगा जो अभी तक मुझे नहीं जानता है। मुझ में सब कुछ धार्मिक है और कोई अनैतिकता, कोई छल, और कोई कुटिलता बिल्कुल भी नहीं है; जो कोई भी कुटिल और धोखेबाज है वह अवश्य नरक का पुत्र होना चाहिए अधोलोक में पैदा हुआ होना चाहिए।